सिंहस्थ है सिंहस्थ भजन शिव जी की महानता और उनके विराट रूप का अद्भुत वर्णन करता है। मैं इस भावपूर्ण भजन को आपके साथ साझा कर रहा हूँ ताकि आप भी शिव जी के सिंहस्वरूप की दिव्यता को महसूस कर सकें और उनकी भक्ति से जुड़ सकें।
Singhasth Hai Singhasth Shiv Bhajan Lyrics
सिंहस्थ है सिंहस्थ,
शिव ही सत्य है शिव भगवंत,
शिव अादी है शिव ही अनंत।
नंदी पर सवार होकर,
आएंगे तारणहार,
दर्शन को दर पर उसके,
लाखों की लगी कतार -2।
बादलों ने बदली दिशाएं
आसमां से हटती घटाएं
खुश है सागर की लहरें
सनन मुस्काती हवाएं
शिव की भक्ति में खोने वाला जगत है….
सिंहस्थ है सिंहस्थ है सिंहस्थ है,
सिंहस्थ है सिंहस्थ है सिंहस्थ है,
सिंहस्थ………है…….
मेरा भोला है निराला
उस ने पिया विष का प्याला
सर पर चांद जटा में गंगा
गले में नाग की माला
शिव की महिमा अपरंपार
शिव करते सबका उद्धार
शिव करुणा का सागर है
शिव है सबका आधार
शिव आदी है शिव अनंत है
शिव शक्ति है वो भगवंत है
शिव ब्रह्म है ओमकार वही
शिव जीवन है संसार वही
मन छोड़ व्यर्थ की चिंता तू,
शिव का नाम लिए जा
शिव अपना काम करेंगे तू,
अपना काम किये जा ।
अमृत की बूंद गिरी शिप्रा जलधार में
मेरे महांकाल सजने वाले हैं श्रृंगार में -2
हर तरफ यही है चर्चा
भर लो शिव भक्ति पर्चा
मन में सब अलख जगा लो
गुजर जाए ना अरसा
कसक जीवन में मिलने वाला प्रयंत है,
सिंहस्थ है सिंहस्थ है सिंहस्थ है,
सिंहस्थ है सिंहस्थ है सिंहस्थ है,
सिंहस्थ………है……. – 2
“सिंहस्थ है सिंहस्थ” भजन शिव जी के तेजस्वी स्वरूप की आराधना करता है और हमें आत्मिक शक्ति का आभास कराता है। अगर यह भजन आपकी आत्मा को छू गया हो, तो “शिव भोले नाम तेरा जीने का है सहारा”, “भोले बाबा का रूप निराला”, “डमरू वाले बाबा तुमको आना होगा” और “जय जय जय भोलेनाथ भोले शंकर” जैसे अन्य शिव भजनों को भी अवश्य पढ़ें और अपने जीवन को शिवमय बनाएं।

मैं पंडित सत्य प्रकाश, सनातन धर्म का एक समर्पित साधक और श्री राम, लक्ष्मण जी, माता सीता और माँ सरस्वती की भक्ति में लीन एक सेवक हूँ। मेरा उद्देश्य इन दिव्य शक्तियों की महिमा को जन-जन तक पहुँचाना और भक्तों को उनके आशीर्वाद से जोड़ना है। मैं अपने लेखों के माध्यम से इन महान विभूतियों की कथाएँ, आरती, मंत्र, स्तोत्र और पूजन विधि को सरल भाषा में प्रस्तुत करता हूँ, ताकि हर भक्त अपने जीवन में इनकी कृपा का अनुभव कर सके।जय श्री राम View Profile