Mhare Pag Pag Pe Dadi Khadi
म्हाने चिंता है क्या की पड़ी म्हारे पग पग में दादी खड़ी
म्हारी दादी की किरपा है बड़ी म्हारे पग पग पे दादी खड़ी
लाख काँटा कोई भी बिछावे होवे वो ही जो दादी जी चाहवे,
म्हारे खातिर माँ हर दम लडी
म्हारे पग पग पे दादी खड़ी
म्हारे धन को न घर में तोडा म्हारो अनसु भरोडो है कोठो
रवे हर दम तिजोरी भरी म्हारे पग पग पे दादी खड़ी
चाहे कितनी ही आंधी सतावे चाहे पत झड़ माँ पता सुखावे,
म्हारी बगिया ने रखे हरी म्हारे पग पग पे दादी खड़ी
हर्ष था सु माँ इतना ही चाहवा हाथ सिर पे मैं थारो माँ पावा
राखे मोह्पे नजर हर घड़ी म्हारे पग पग पे दादी खड़ी
मैं शिवप्रिया पंडित, माँ शक्ति का एक अनन्य भक्त और विंध्येश्वरी देवी, शैलपुत्री माता और चिंतापूर्णी माता की कृपा से प्रेरित एक आध्यात्मिक साधक हूँ। मेरा उद्देश्य माँ के भक्तों को उनके दिव्य स्वरूप, उपासना विधि और कृपा के महत्व से अवगत कराना है, ताकि वे अपनी श्रद्धा और भक्ति को और अधिक दृढ़ बना सकें। मेरे लेखों में इन देवी शक्तियों के स्तोत्र, चालीसा, आरती, मंत्र, कथा और पूजन विधियाँ शामिल होती हैं, ताकि हर भक्त माँ की आराधना सही विधि से कर सके और उनके आशीर्वाद से अपने जीवन को सुख-समृद्धि से भर सके। जय माता दी! View Profile 🙏🔱