Dadi Khol De Darwajo
भादवै की मस्ती में नाचांगा गावांगा,
ओ दादी, ओ दादी
ओ दादी खोल दे दरवाजो म्हें तो केड आवांगा,
भादवै की मस्ती में नाचांगा गावांगा,
ओ दादी खोल दे दरवाजो म्हें तो केड आवांगा….
रोली मौली अक्षत मेहंदी ल्याया भक्त हजार,
सोणो सोणो गजरो ल्याकर रहा हाँ बाट निहार….-2
छैल छबीलो सथीयो थारो म्हें बणावांगा,
ओ दादी, ओ दादी
ओ दादी खोल दे दरवाजो म्हें तो केड आवांगा…..
ओढ़ चुनरिया लाल सुरंगी हरिया मेहंदी हाथ,
भोला ढाला टाबरिया के पल पल रहियो साथ…-2
मीठा-मीठा थाणे दादी भजन सुणावांगा,
ओ दादी, ओ दादी
ओ दादी खोल दे दरवाजो म्हें तो केड आवांगा…..
मावस के दिन धोक लगाते करते जय जयकार,
दादी म्हारी कुलदेवी थे रखियो खुश परिवार….-2
“मधु” बोले थाणे दादी आज रिझावांगा,
ओ दादी, ओ दादी
ओ दादी खोल दे दरवाजो म्हें तो केड आवांगा…..
लाडु बुंदिया खीर चूरमा सागै भुजिया अचार,
छप्पन भोग छत्तीसों व्यंजन ल्याया थारै द्वार….-2
लाड प्यार से थाणे दादी म्हें जिमावांगा,
ओ दादी, ओ दादी
ओ दादी खोल दे दरवाजो म्हें तो केड आवांगा,
भादवै की मस्ती में नाचांगा गावांगा,
ओ दादी, ओ दादी
ओ दादी खोल दे दरवाजो म्हें तो केड आवांगा…….

मैं शिवप्रिया पंडित, माँ शक्ति का एक अनन्य भक्त और विंध्येश्वरी देवी, शैलपुत्री माता और चिंतापूर्णी माता की कृपा से प्रेरित एक आध्यात्मिक साधक हूँ। मेरा उद्देश्य माँ के भक्तों को उनके दिव्य स्वरूप, उपासना विधि और कृपा के महत्व से अवगत कराना है, ताकि वे अपनी श्रद्धा और भक्ति को और अधिक दृढ़ बना सकें। मेरे लेखों में इन देवी शक्तियों के स्तोत्र, चालीसा, आरती, मंत्र, कथा और पूजन विधियाँ शामिल होती हैं, ताकि हर भक्त माँ की आराधना सही विधि से कर सके और उनके आशीर्वाद से अपने जीवन को सुख-समृद्धि से भर सके। जय माता दी! View Profile