भक्तो चालो रे म्हारे श्याम धणी रो मेलो आयो है —यह भजन खाटू श्याम जी के भव्य मेले और उनकी दिव्य उपस्थिति का वर्णन करता है। जब बाबा का मेला लगता है, तो भक्तों के मन में उल्लास, भक्ति और प्रेम का सागर उमड़ पड़ता है। यह भजन हमें भी बाबा के इस दिव्य मेले में जाने और उनके प्रेम में रंग जाने का आह्वान करता है।
Bhakto Chalo Re Mhare Shyam Dhani Ro Melo Aayo Hai
भक्तो चालो रे,
म्हारे श्याम धणी रो,
मेलो आयो है,
भगतों चालो रे,
मेलो आयो मेलो आयो,
मेलो आयो है,
भगतों चालो रे।1।
रींगस से निशान उठाकर,
खाटू नगरी चालेंगे,
प्रेमी सब रील मिल कर बाबा,
भजन तुम्हारे गायेंगे,
रंग गुलाल उड़े खाटू में,
खुशी मनाएंगे,
भगतों चालो रे।2।
ऐसो सज धज कर बैठो है,
नजर ना हमरी लग जावे,
दुर दुर से दर्शन करें प्रेमी,
खाटू आ जावे,
नज़र उतारे बली बली जाए,
आनंद आयो है,
भगतों चालो रे।3।
मोरछडी लहराता है कभी,
लीले चढ़ कर आता है,
जब जब हमने टेर लगाई,
एक पल नहीं गवाता है,
नाम तेरे की नाव में बैठे
मन में आयो है
भगतों चालो रे।4।
फागुन की रुत न्यारी न्यारी,
सबको लगती प्यारी प्यारी,
कहे रितिका फाल्गुन मेले,
हर बार बुलानो है,
भगतों चालो रे।5।
भक्तो चालो रे,
म्हारे श्याम धणी रो,
मेलो आयो है,
भगतों चालो रे,
मेलो आयो मेलो आयो,
मेलो आयो है,
भगतों चालो रे।6।
खाटू श्याम जी का मेला सिर्फ एक उत्सव नहीं, बल्कि भक्तों के लिए भक्ति और प्रेम का महासागर है, जहां हर कोई श्याम रंग में रंग जाता है। यह भजन हमें बाबा के प्रेम में रमने और उनकी कृपा का अनुभव करने की प्रेरणा देता है। यदि यह भजन आपको पसंद आया, तो “खाटू में रंगों की बौछार है“, “आयो फागण रंग रंगीलो ले हाथा में निशान चलो“, और “फागुन का मेला आया है, मुझे श्याम से मिलने जाना है” जैसे भजनों को भी अवश्य पढ़ें और श्याम प्रेम में डूब जाएं। जय श्री श्याम! 🙏🎶