श्याम-श्याम रट मन बावरा भजन श्याम बाबा के प्रति अपार प्रेम और भक्ति की अभिव्यक्ति है। जब मनुष्य इस संसार के दुखों और मोह-माया से थक जाता है, तो केवल श्याम नाम का सहारा ही उसे सच्ची शांति प्रदान करता है। इस भजन में भक्त अपने मन को समझाता है कि श्याम का नाम ही उसकी सबसे बड़ी पूंजी है, जिससे जीवन का हर कष्ट दूर हो सकता है। जो भी सच्चे हृदय से श्याम बाबा का नाम जपता है, वह कभी भी अकेला या असहाय महसूस नहीं करता।
Shyam Shyam Rat Man Bawara
श्याम-श्याम रट मन बावरा-2
श्याम बाबा तो, कलयुग अवतार,
वो भव से तारसी रे-2
तर्ज: पीयू-पीयू बोले पिया मोरनी…
खाटू नगरी चलो पग तांवला-2
खाटू से ही चाले म्हारे, श्याम री सरकार,
वो भव से तारसी रे-2
श्याम दर्श करो आख्या रे-2
श्याम सलोनो प्यारो, लखदातार,
वो भव से तारसी रे-2
श्याम भजन कर जीभड़ी-2
भजना से राजी होवे, लीला को सवार,
वो भव से तारसी रे-2
चरणा की रज धर माथा पे,
श्याम चरण रज, महिमा अपार,
वो भव से तारसी रे-2
श्याम बाबा का नाम ही वह संजीवनी है, जो हर भक्त के मन को आनंद और शांति से भर देती है। “श्याम-श्याम रट मन बावरा” भजन भी इसी प्रेम और श्रद्धा का संदेश देता है। श्याम प्रेम और उनकी कृपा का अनुभव करने के लिए थे म्हारा सरकार, म्हारा खाटू वाला श्याम, आते हैं बाबा श्याम को जादू कमाल के, हारा हूँ बाबा, बस तुझपे भरोसा है, और बोल सांवरिया बोल तुझको कैसे रिझाया जाए भजन भी पढ़ें और श्याम जी की भक्ति में रम जाएं।