माँ जगदंबा ही इस संपूर्ण सृष्टि की पालनहार हैं, और जब भक्त सच्चे मन से उन्हें पुकारता है, तो वे अवश्य उसकी रक्षा करती हैं। “मात जगदम्बे तेरे बिन कोई ना हमारा है” भजन इसी भक्तिभाव और समर्पण का सुंदर चित्रण करता है। यह गीत माँ के प्रति हमारे अटूट विश्वास को प्रकट करता है कि इस संसार में सच्चा सहारा केवल माँ ही हैं। जब सब साथ छोड़ देते हैं, तब माँ दुर्गा ही वह शक्ति होती हैं, जो हमें संभालती हैं और हर कठिनाई से उबारती हैं।
Mat Jagdambe Tere Bina Koi Na Hamara Hai
मात जगदम्बे तेरे बिन,
कोई ना हमारा है,
तू ही तो एक सहारा है,
मात जगदम्बे।।
थोड़ी सी मिल जाये कृपा हमे तेरी,
तो रंग जीवन के खिल जाए,
मुझको धरती पर ही जन्नत की सारी,
खुशियां मात मिल जाये,
मेरे मन मंदिर में तेरे नाम का उजारा है,
तू ही तो एक सहारा है,
मात जगदम्बें तेरे बिन,
कोई ना हमारा है,
मात जागदम्बे।।
कहते है बिन मांगे देती है तू सबकुछ,
तो कोई तुझसे क्या मांगे,
तेरे दर्शन की बस एक अभिलाषा,
और झूठा सब तेरे आगे,
नाम एक साँचा बाकी झूठा जग सारा है,
तू ही तो एक सहारा है।।
मात जगदम्बें तेरे बिन,
कोई ना हमारा है,
मात जागदम्बे।।
ये चंद सोने के सिक्के मेरी अम्बे,
झूठी सारी माया है,
जन्म लेकर के और मिट जाती,
भला ये कैसी क्या है,
राजेन्द्र ने जाना साँचा तेरा दीदारा है,
तू ही तो एक सहारा है,
मात जगदम्बें तेरे बिन,
कोई ना हमारा है,
मात जागदम्बे।।

मैं हेमानंद शास्त्री, एक साधारण भक्त और सनातन धर्म का सेवक हूँ। मेरा उद्देश्य धर्म, भक्ति और आध्यात्मिकता के रहस्यों को सरल भाषा में भक्तों तक पहुँचाना है। शनि देव, बालाजी, हनुमान जी, शिव जी, श्री कृष्ण और अन्य देवी-देवताओं की महिमा का वर्णन करना मेरे लिए केवल लेखन नहीं, बल्कि एक आध्यात्मिक साधना है। मैं अपने लेखों के माध्यम से पूजन विधि, मंत्र, स्तोत्र, आरती और धार्मिक ग्रंथों का सार भक्तों तक पहुँचाने का प्रयास करता हूँ। 🚩 जय सनातन धर्म 🚩