मेरे गणनायक तुम आ जाओ मैं तो कबसे बाट निहार रही

भगवान गणेश जी अपने भक्तों की पुकार कभी अनसुनी नहीं करते। मेरे गणनायक तुम आ जाओ मैं तो कबसे बाट निहार रही भजन में भक्त की गहरी भक्ति और अधीर प्रतीक्षा को दर्शाया गया है। यह भजन गणपति बप्पा के प्रति उस अटूट श्रद्धा को प्रकट करता है, जिसमें भक्त अपने आराध्य के आगमन की राह देखता है, उनकी कृपा और आशीर्वाद की प्रतीक्षा करता है।

Mere Gannayak Tum Aa Jao Main To Kabase Bat Nihar Rahi

मेरे गणनायक तुम आ जाओ,
मैं तो कबसे बाट निहार रही,
मेरे गणनायक तुम आ जाओ।1।

मेरी सखियाँ मुझसे पूछे है,
कब आएंगे गजमुख बोलो,
अब अष्ट विनायक आ जाओ,
मैं तो कबसे बाट निहार रही,
मेरे गणनायक तुम आ जाओं,
मैं तो कबसे बाट निहार रही,
मेरे गणनायक तुम आ जाओ।2।

मन व्याकुल है तन डोले है,
हर साँस मेरी यही बोले है,
अब गौरी नंदन आ जाओ,
मैं तो कबसे बाट निहार रही,
मेरे गणनायक तुम आ जाओं,
मैं तो कबसे बाट निहार रही,
मेरे गणनायक तुम आ जाओ।3।

गौरा के मन मन का तू गौरव,
शिव जी की अँखियों का तारा,
अब विघ्न विनाशक आ जाओ,
मैं तो कबसे बाट निहार रही,
मेरे गणनायक तुम आ जाओं,
मैं तो कबसे बाट निहार रही,
मेरे गणनायक तुम आ जाओ।4।

तेरा मुख मंगल की मूरत है,
तेरा दर्श ही गणपति अमृत है,
कभी मुझ पे दया बरसा जाओ,
मैं तो कबसे बाट निहार रही,
मेरे गणनायक तुम आ जाओ,
मैं तो कबसे बाट निहार रही,
मेरे गणनायक तुम आ जाओ।5।

मेरे मन में गणपति भक्ति रहे,
तेरी भक्ति ही दाता शक्ति रहे,
रंग ऐसा मुझपे चढ़ा जाओ,
मैं तो कबसे बाट निहार रही,
मेरे गणनायक तुम आ जाओं,
मैं तो कबसे बाट निहार रही,
मेरे गणनायक तुम आ जाओ।6।

गणपति बप्पा की महिमा अपार है, और उनकी आराधना से भक्तों के जीवन में सुख, समृद्धि और शांति का वास होता है। मेरे गणनायक तुम आ जाओ भजन की तरह ही गणपति आयो बापा रिद्धि सिद्धि लायो, गौरी के नंदन की हम पूजा करते हैं, दुखहर्ता बनके सुखकर्ता बनके चले आना और भक्तों के द्वार पधारो प्यारे गौरी के ललन जैसे भजनों में भी उनकी महिमा का गुणगान किया गया है। भक्तों को चाहिए कि वे इन भजनों का पाठ करें और अपने जीवन में गणपति बप्पा की कृपा प्राप्त करें।

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