गणेश भगवान के भजन भक्तों के बीच बहुत लोकप्रिय हैं और किसी भी धार्मिक आयोजन में इनका विशेष महत्व होता है। श्री गणेश, जिन्हें विघ्नहर्ता और बुद्धि के देवता माना जाता है, की पूजा हर शुभ कार्य से पहले की जाती है। Ganesh Bhagwan Ke Bhajan भक्तों को भावविभोर कर देते हैं और उनके दिलों में एक अद्भुत शांति और उमंग भर देते हैं।
गणेश भजन न केवल भक्तों के दिल को छूते हैं, बल्कि उनकी शक्ति और करुणा का आभास भी कराते हैं। गणेश जी रिंगटोन के लिए भी आप भजन का उपयोग कर सकते है। इन्हें सुनने से मानसिक शांति मिलती है और कठिनाइयों को दूर करने का आत्मविश्वास भी मिलता है। गणेश जी के भजन हमारे जीवन में सुख, समृद्धि और शांति का संचार करते हैं। यहां हमने आपके लिए इन भजनो को नीचे उपलब्ध कराया है-
गणेश भजन लिरिक्स
सुखकर्ता दुखहर्ता वार्ता विघ्नाची…
जय गणेश जय गणेश देवा…
घर में पधारो गजाननजी मेरे घर में पधारो…
गजानंद महाराज पधारो कीर्तन की तैयारी है…
मेरे लाडले गणेश प्यारे प्यारे..
गणनायक महाराज को प्रथम करा आहवान…
मेरे बन जाए बिगड़े काम गजानन तेरे आने से…
गणेश जी की आरती सुखकर्ता दुखहर्त
सुख करता दुखहर्ता, वार्ता विघ्नाची
नूर्वी पूर्वी प्रेम कृपा जयाची
सर्वांगी सुन्दर उटी शेंदु राची
कंठी झलके माल मुकताफळांची।
जय देव जय देव, जय मंगल मूर्ति
दर्शनमात्रे मनःकमाना पूर्ति
जय देव जय देव।
रत्नखचित फरा तुझ गौरीकुमरा
चंदनाची उटी कुमकुम केशरा,
हीरे जडित मुकुट शोभतो बरा
रुन्झुनती नूपुरे चरनी घागरिया।
जय देव जय देव, जय मंगल मूर्ति
दर्शनमात्रे मनःकमाना पूर्ति।
जय देव जय देव…
लम्बोदर पीताम्बर फनिवर वंदना
सरल सोंड वक्रतुंडा त्रिनयना,
दास रामाचा वाट पाहे सदना
संकटी पावावे निर्वाणी रक्षावे सुरवर वंदना।
जय देव जय देव, जय मंगल मूर्ति,
दर्शनमात्रे मनःकमाना पूर्ति।
जय देव जय देव…
शेंदुर लाल चढायो अच्छा गजमुख को
दोन्दिल लाल बिराजे सूत गौरिहर को,
हाथ लिए गुड लड्डू साई सुरवर को
महिमा कहे ना जाय लागत हूँ पद को।
जय जय जय जय जय
जय जय जी गणराज विद्यासुखदाता,
धन्य तुम्हारो दर्शन मेरा मत रमता।
जय देव जय देव…
अष्ट सिधि दासी संकट को बैरी
विघन विनाशन मंगल मूरत अधिकारी,
कोटि सूरज प्रकाश ऐसे छबी तेरी
गंडस्थल मद्मस्तक झूल शशि बहरी।
जय जय जय जय जय
जय जय जी गणराज विद्यासुखदाता,
धन्य तुम्हारो दर्शन मेरा मत रमता।
जय देव जय देव…
भावभगत से कोई शरणागत आवे
संतति संपत्ति सबही भरपूर पावे,
ऐसे तुम महाराज मोको अति भावे
गोसावीनंदन निशिदिन गुण गावे।
जय जय जी गणराज विद्यासुखदाता,
धन्य तुम्हारो दर्शन मेरा मत रमता।
जय देव जय देव…
अपने जीवन में गणेश जी की कृपा दृष्टि बनाये रखने के लिए आप भजन के साथ Ganesh Chaturthi Song, Ganesh Stuti Mantra और Ganesh Ji Ke Nare को भी आपने पाठ में शामिल कर सकते है।
Ganesh Bhagwan Ke Bhajan पाठ विधि
भजनों का पाठ करने की कई विधियां होती हैं, जिन्हें भक्त अपनी श्रद्धा और सुविधानुसार अपना सकते हैं। इनमें से कुछ प्रमुख विधियां इस प्रकार हैं:
- साधारण पाठ: यह सबसे सरल विधि है, जिसमें भक्त सुबह या शाम के समय गणेश जी के भजनों का पाठ करते हैं। इसे घर के पूजा स्थल या किसी शांत स्थान पर बैठकर किया जा सकता है।
- भजन संकीर्तन: भजन संकीर्तन एक सामूहिक पूजा विधि है, जिसमें कई भक्त मिलकर गणेश भगवान के भजन गाते हैं। यह विधि गणेश चतुर्थी, गणेश उत्सव या अन्य धार्मिक अवसरों पर अधिक प्रचलित है। इसमें ढोलक, मंजीरा, और अन्य वाद्ययंत्रों का उपयोग किया जाता है।
- गणेश मंत्र जाप: कई भक्त गणेश भजनों के साथ गणेश मंत्र जैसे “ॐ गण गणपतये नमः” का जाप भी करते हैं। इससे मन की एकाग्रता बढ़ती है और भगवान गणेश की कृपा शीघ्र प्राप्त होती है। इसे ध्यान की अवस्था में बैठकर किया जा सकता है।
- वीडियो या ऑडियो: आजकल डिजिटल युग में भक्त भजनों को वीडियो या ऑडियो के माध्यम से सुनते और गाते हैं। इसे घर पर आराम से या यात्रा के दौरान भी सुना जा सकता है।
- धूप-दीप: यह पारंपरिक विधि है, जिसमें गणेश जी की मूर्ति के सामने धूप-दीप जलाकर, फूल अर्पित कर भक्त गणेश भजनों का पाठ करते हैं। इसे विशेष रूप से पूजा के समय किया जाता है।
इन विधियों के माध्यम से भक्त गणेश भगवान के प्रति अपनी श्रद्धा प्रकट करते हैं और उनकी कृपा प्राप्त करते हैं।
भजन करने के लाभ
भजनों का पाठ करने से अनेक लाभ प्राप्त होते हैं, जो शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक रूप से हमारे जीवन पर सकारात्मक प्रभाव डालते हैं। कुछ प्रमुख लाभ इस प्रकार हैं:
- मानसिक शांति: गणेश भजनों का नियमित पाठ मानसिक शांति प्रदान करता है। इसे सुनने और गाने से तनाव और चिंता कम होती है, जिससे मन शांत और स्थिर रहता है।
- बाधाओं का नाश: गणेश जी को विघ्नहर्ता माना जाता है। उनके भजनों का पाठ करने से जीवन में आने वाली कठिनाइयों और बाधाओं का नाश होता है, और कार्य सफलतापूर्वक पूरे होते हैं।
- आत्मविश्वास: इनके भजनों का पाठ करने से आत्मविश्वास और साहस बढ़ता है। भजनों के माध्यम से भगवान गणेश की शक्ति और संरक्षण का अनुभव होता है, जिससे आत्मबल में वृद्धि होती है।
- ऊर्जा का संचार: गणेश जी के भजन हमारे चारों ओर सकारात्मक ऊर्जा का संचार करते हैं। यह ऊर्जा घर के वातावरण को शुद्ध करती है और नकारात्मकता को दूर करती है।
- बुद्धि और ज्ञान: गणेश जी को ज्ञान और बुद्धि के देवता माना जाता है। उनके भजनों का पाठ करने से ध्यान और स्मरण शक्ति में सुधार होता है, जिससे बुद्धि का विकास होता है।
- आध्यात्मिक उन्नति: भजनों का नियमित पाठ हमें भगवान गणेश के प्रति भक्ति और श्रद्धा में बढ़ाता है। इससे आध्यात्मिक उन्नति होती है और मोक्ष प्राप्ति का मार्ग प्रशस्त होता है।
- सुख-समृद्धि: गणेश भजनों का पाठ करने से घर में सुख-समृद्धि और सौभाग्य का वास होता है। इससे घर के सभी सदस्य खुश और स्वस्थ रहते हैं।
यह भजन न केवल हमारी भक्ति को प्रगाढ़ करते हैं बल्कि जीवन में सकारात्मक बदलाव लाकर हमें हर तरह से लाभान्वित करते हैं।
FAQ
गणेश भजन का पाठ कब करना सबसे अच्छा होता है?
भजन का पाठ सुबह या शाम के समय करना शुभ माना जाता है। बुधवार और गणेश चतुर्थी के दिन इसका महत्व अधिक होता है।
क्या भजन रोज़ाना किए जा सकते हैं?
गणेश भजन का पाठ सुबह या शाम के समय करना शुभ माना जाता है। बुधवार और गणेश चतुर्थी के दिन इसका महत्व अधिक होता है।
गणेश जी के कुछ प्रसिद्ध भजन कौन से हैं?
“जय गणेश देवा,” “सुखकर्ता दुखहर्ता,” “गणपति बप्पा मोरया,” और “हे गणराया” गणेश जी के लोकप्रिय भजन हैं।
क्या घर में भजन बजाना शुभ है?
हां, घर में भजन बजाने से सकारात्मकता आती है और घर का वातावरण शुद्ध और शांतिपूर्ण रहता है।
क्या भजन का पाठ करने के लिए विशेष वस्त्र पहनने जरूरी हैं?
विशेष वस्त्र जरूरी नहीं हैं, लेकिन स्वच्छ और साफ कपड़े पहनना उचित होता है, जिससे भजन में पवित्रता बनी रहती है।