शेर पे सवार है मैया आने को तैयार है

जब भी भक्तों पर संकट आता है, माँ दुर्गा अपनी सवारी सिंह पर बैठकर रक्षा करने के लिए चली आती हैं। “शेर पे सवार है मैया आने को तैयार है” भजन माँ के उसी महाशक्ति स्वरूप का गुणगान करता है, जो अपने भक्तों की हर परेशानी हरने के लिए सदैव तत्पर रहती हैं। यह भजन हमें यह विश्वास दिलाता है कि माँ की कृपा जिन पर होती है, उनका कोई बाल भी बांका नहीं कर सकता।

Sher Pe Sawar Hai Maiya Aane Ko Taiyar Hai

शेर पे सवार है,
मैया आने को तैयार है,
कोई दिल से,
बुलाने वाला चाहिए।1।

यूं तो बुलाने वाले,
लाखों है कतार में,
उनके ही घर ये जाती,
जो पागल है प्यार में,
करती ये प्यार है,
और चाहती भी प्यार है,
कोई दिल से,
निभाने वाला चाहिए।2।

जितनी लगन है हमको,
मैया को बुलाने की,
उससे से भी ज्यादा इच्छा,
है खुद माँ की आने की,
बड़ी बेकरार है,
ये तो करे इंतजार है,
कोई दिल में,
बिठाने वाला चाहिए।3।

पलके बिछाए खड़े है,
हम तेरे प्यार में,
एक बर तो आजा मैया,
मेरे परिवार में,
मूड़ के न जाओगी,
तुम यहीं रह जाओगी,
कोई ‘अम्बरीष’,
बहाना ना बनाइये,
मेरे ही घर में रह जाइये,
भगतों के घर में रह जाइये।4।

शेर पे सवार है,
मैया आने को तैयार है,
कोई दिल से,
बुलाने वाला चाहिए।5।

शेर पे सवार है मैया आने को तैयार है भजन माँ की शक्ति, करुणा और भक्तों के प्रति उनके प्रेम को दर्शाता है। माँ दुर्गा अपने भक्तों की रक्षा के लिए सदैव जागृत रहती हैं और अपने सिंह पर सवार होकर संकटों को नष्ट कर देती हैं। इसी तरह, माँ की महिमा का वर्णन “माँ तुम याद आई बहुत याद आई” जैसे भजनों में भी किया जाता है। माँ की भक्ति में डूबकर हम सभी उनके आशीर्वाद से अपने जीवन को सफल बना सकते हैं। जय माता दी! ????????

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